Monday, March 29, 2021

चालाक

आज 
कट रही टहनी पर
तुम्हारा घोंसला नहीं है
इसलिए शांत हो
तुम चालाक हो

जिसका घोंसला है
वह भी तो चालाक था
कल तक

Tuesday, March 23, 2021

सूरज

सूरज
मुझसे पहले भी
चमक रहा था

सूरज
मेरे बाद भी
चमकेगा

इस दरम्यान
रात नही होने देना
यह मेरा काम है

Tuesday, March 2, 2021

एक और दुनिया

ऐ ईश्वर
तू है सचमुच तो
बनाई होगी तूने
एक और दुनिया

सत्ता होती होगी
निस्वार्थ लुटतेे हुए 
पेड़ों की वहाँ

जहाँ आदमियों से
बिलबिलाते होंगे
जमाखोर लोभी
आदमी

दस्तक

दस्तक देता रहता है कि सुन सके अपनी ही दस्तक "मैं" मैं को शक है अपने होने पर मैं को भय है अपने न होने का